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पं. रामाश्रय झा "रामरंग" की जयंती पर कलाकारों ने किया रंगारंग सांस्कृ्तिक कार्यक्रम की प्रस्तुति



 14/Aug/23

20वीं शताब्दी के महानायक राज ऋषि संगीत ऋषि वाग्गेयकार पं. रामाश्रय झा "रामरंग" की जयंती संगीत समारोह धूमधाम से मनाया गया। जिसमें पहली प्रस्तुति उनके द्वारा रचित संगीत रामायण का एक प्रसंग शबरी प्रसंग का गायन हुआ जिस में भाग लिया डॉ. पंकज शर्मा, ईशान घोष, पलाश चंद्र विश्वास, प्रणव शंकर, श्रुति शक्ति, प्रियंका सहवाल, वागीशा पांडे एवं हरी प्रिया पांडे तबले पर साथ दिया डा. अभिनव नारायण आचार्य इस प्रसंग में राग श्री, राग नट, राग झिंझोटी, राग भूपाली एवं राग देश की प्रस्तुति हुई।

कार्यक्रम के दूसरी कड़ी में सुश्री तेजस्विनी वेरेनकर का गायन आपने राग श्री मे 2 रचनाये प्रस्तुत किया एवं भजन से समापन किया कार्यक्रम का प्रारंभ किया जिसमें पंडित जी की रचना धीमा त्रिताल में निबंध थी ज्ञान ना पावे से हुआ उनके साथ तबला एवं हारमोनियम पर संगत पंकज राय एवं डॉ. पंकज शर्मा दिया।

कार्यक्रम की तीसरी कड़ी में मृणाल रंजन का गायन हुआ राग मारवा विलंबित पिया मोरे अनत देस गयिलवा मध्यलय गुरु बिन ज्ञान न पावे भजन मिश्र पहाड़ी में उनके साथ भी संगत में हारमोनियम में डॉ. पंकज शर्मा एवं तबले पर आशेष नारायण मिश्र ने कुशल संगत किया।

कार्यक्रम का संचालन आदित्य नारायण तिवारी एवं कृष्ण कुमार तिवारी ने किया इस कार्यक्रम में शहर के गणमन जन उपस्थित रहे। सर्वप्रथम पद्मश्री राजेश्वराचार्य ने उद्घाटन किया एवं शहर के गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे। कार्यक्रम "रामरंग" परिवार गायन विभाग संगीत व मंच कला संकाय एवं मालवीय मूल्य अनुशीलन केंद्र द्वारा यह कार्यक्रम संचालित किया गयाl


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