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जैन संतों की अगुवाई में जैन समाज ने निकाली महावीर की भव्य शोभा यात्रा



 10/Apr/25

इस अवसर पर भगवान महावीर स्वामी की अष्टधातु के प्रतिमा को हाथी के विशाल गज रथ पर चांदी की नलकी में बड़े धूमधाम से विराजमान कर भव्य शोभा यात्रा निकाली गई शोभा यात्रा में शामिल हाथी घोड़े गाजे वाजे के साथ सुसज्जित पोशाक में महिलाएं पुरुष और बच्चे भजन गाते हुए चल रहे थे तो जैसे लग रहा था कि साक्षात देव भगवान महावीर का जन्म उत्सव मनाने इस पृथ्वी पर उतर आए हो। क्या बच्चे क्या पुरुष क्या महिला सबका उत्साह देखते बन रहा था जैन समाज द्वारा शोभा यात्रा के मार्ग पर जगह-जगह शीतल जल ,फल और शरबत ,श्रद्धालुओं में वितरण किया जा रहा था रास्ते भर जगह-जगह लोगों द्वारा शोभा यात्रा पर गुलाब की पंखुड़ियां से वर्षा की जा रही थी जो देखने में अत्यंत भव्य प्रतीत हो रही थी संपूर्ण रास्ता गुलाब की पंखुड़िया से पट गया था ।शोभा यात्रा की अगुवाई जैन आचार्य विपुल सागर जी, आचार्य भद्र बाहु सागर जी, मुनि आदि सागर जी ,जिन दत्त सागर जी कर रहे थे । शोभा यात्रा का नेतृत्व समाज अध्यक्ष आरसी जैन द्वारा किया गया शोभा यात्रा का संचालन मुख्य संयोजक और उपाध्यक्ष राकेश जैन द्वारा किया गया । इस अवसर पर उपाध्यक्ष संजय जैन समाज मंत्री श्री विनोद जैन प्रमोद बागड़ा ,प्रधानमंत्री प्रदीप चंद जैन प्रतीक जैन, सुधीर कुमार पोद्दार ,कमल बागड़ा, समाज के संरक्षक विनय कुमार जैन ,राहुल जैन, भूपेंद्र कुमार जैन, दीपक जैन डॉक्टर के के जैन कोषाध्यक्ष सौरभ जैन इत्यादि प्रमुख लोग उपस्थित थे । शोभा यात्रा में महिलाओं का नेतृत्व श्रीमती प्रमिला सांवरिया आशा जैन राजुल बागड़ा रजनी जैन इत्यादि कर रहे थे शोभा यात्रा ग्वाल दास साहू लेन स्थित पंचायती जैन मंदिर पर पहुंचकर समाप्त हुई तत्पश्चात विश्व शांति हेतु 108 स्वर्ण और रजत कलश से भगवान का पंचाभिषेक किया गया।

भवदीय राकेश जैन

उपाध्यक्ष दिगंबर जैन समाज काशी

जैन समाज ने शासन प्रशासन के सामने 10 सूत्री मांग की।

काशी को मांस मदिरा से मुक्त किया जाए सकल जैन समाज।

दिगंबर जैन महासमिति वाराणसी संभाग के अध्यक्ष डॉ केके जैन, महामंत्री राकेश जैन और उपाध्यक्ष प्रदीप चंद जैन ने शासन में प्रशासन से दस सूत्री मांग की है।

जैन महा समिति के अध्यक्ष डॉक्टर महामंत्री राकेश जैन ने एक स्वर में कहा कि जिस तरह अयोध्या काशी मांस मदिरा से मुक्त है तो काशी क्यों नहीं मुक्त हो सकती है।

2* जिस तरह काशी बाबा विश्वनाथ के नाम से जानी जाती है उसी तरह जैन धर्म में भी काशी का अत्यंत महत्व है क्योंकि काशी को चार जैन तीर्थंकरों की जन्मस्थली होने का सौभाग्य प्राप्त है अतः काशी विश्वनाथ की तर्ज पर ही शहर में स्थित चारों भगवानों की जन्मस्थली का विकास किया जाए।

3* 23वें तीर्थंकर भगवान पारसनाथ की जन्मस्थली भेलपुर में भगवान पारसनाथ की स्मृति में एक भव्य द्वार बनाया जाए

4* भेलूपुर मार्ग का नाम भगवान पार्श्वनाथ पथ रखा जाए ।

5 *आठवें तीर्थंकर भगवान सुपारस नाथ की जन्मस्थल bhaidaini में स्थित है मंदिर में जाने की galiya एकदम बैठ चुकी है siwar का पानी और माल बाहर सड़क पर ही बजे आता रहता है जो अत्यंत ही निंदनीय है एक बड़ा फंड स्वीकृत कर नए सिरे से सिविल लाइन डाली जाए साथ में गलियों को पूरी तरह से नए पत्थर लगाकर उनको जन्मस्थली के स्टार पर विकास किया जाए

6* बढ़नी स्थित जैन घाट पर सुभाष नाथ की स्मृति पर घाट का संपूर्ण विकास हो। 7*इसी प्रकार 11वीं तीर्थंकर भगवान श्रेयांश नाथ की स्मृति में सारनाथ में एक भव्य द्वारा बनाया जाए । 8* छठे ठक्कर भगवान चंदा प्रभु जी जन्मस्थली का विकास भगवान के तीर्थंकर की जन्मस्थली के रूप में किया जाए 9 चंद्रावती गांव की संपूर्ण सड़कों को मनाया जाए सड़कों पर किनारे फूल पौधे लगाए जाएं किनारे बैठने की बेच लगाई जाए संपूर्ण चंद्रावती गांव को पर्यटक और धार्मिक स्थल के रूप में विकसित किया जाए ।

10* कैंट स्टेशन पर चारु भगवान की जन्मस्थली के संदर्भ में एक डिजिटल बोर्ड लगाया जाए जिससे आने वाले तीर्थ यात्रियों को जैन तीर्थ स्थल के बारे में पता चल सके पर्यटन विभाग द्वारा चारों जन्म स्थलीयों को जोड़ने के लिए सुंदर बसें चलाई जाए साथी नदिया स्थित भगवान महावीर के मंदिर का पूर्ण विकास किया जाए भवदीय राकेश जैन ।महामंत्री दिगंबर जैन महासमिति वाराणसी संभाग


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